कोटद्वार में निराश्रित गौवंश को मिला सहारा, अब तक 78 गौवंश पहुंचे गौशाला। नगर निगम और उत्तराखंड गौसेवा आयोग की पड़ी पहल

कोटद्वार में निराश्रित गौवंश को लेकर कोटद्वार नगर निगम और उत्तराखंड गौ सेवा आयोग ने बड़ा कदम उठाया है। नगर आयुक्त वैभव गुप्ता और गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष पंडित राजेंद्र अंथवाल द्वारा पिछले लंबे समय से किए जा रहे प्रयासों के बाद अब निगम की काशीरामपुर तल्ला स्थित गौशाला का संचालन गौधाम महातीर्थ पथमेड़ा द्वारा किया जायेगा। जिसका शुभारंभ आज पथमेड़ा के उत्तराखंड प्रभारी संत गोपेश कृष्ण दास, रविंद्र आनंद सरस्वती, गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष पंडित राजेंद्र अंथवाल और नगर आयुक्त वैभव गुप्ता की मौजूदगी में हुआ। पथमेड़ा संस्था विश्व की सबसे बड़ी गौशाला का संचालन करती है जहा दो लाख से ज्यादा गौवंश की देखरेख की जाती है। ऐसे मे गौवंश को भोजन और दवाइयों के साथ ही अन्य सुविधाएं और ज्यादा बेहतर ढंग से मिल पाएगी। इस गौशाला में घायल गौवंश का उपचार भी किया जा रहा है। जिसमे कड़क पहाड़ी ग्रुप के सदस्यों का भी बड़ा योगदान रहा है। पंडित राजेंद्र अंथवाल ने सभी पशु पालकों से अपील की है की वो अपने जानवरों को खुले में असुरक्षित न छोड़े, ऐसे मे या तो जानवर किसी दुर्घटना का शिकार हो सकते है या फिर उनके द्वारा किसी दूसरे को घायल किया जा सकता है। नगर आयुक्त वैभव गुप्ता ने बताया की गौवंश से जुड़ी समस्याओ को लेकर जिलास्तरीय कमेटी द्वारा जिस संस्था से अनुबंध किया गया था उसका अनुबंध खत्म होने के बाद अब पथमेंड़ा संस्था से अनुबंध किया गया है। जिसमे गौशाला निर्माण के साथ ही बिजली, पानी की सुविधा निगम द्वारा दी जाएगी और संचालन संस्था द्वारा किया जायेगा।

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