पौड़ी जनपद में माँ और शिशु की रक्षा के लिए जिलाधिकारी की सराहनीय पहल, हाई रिस्क गर्भवती महिलाओं के लिए काव्या ऐप बना उम्मीद की किरणपौड़ी जनपद ने टेक्निकल हेल्प से एक नयी शुरुआत करते हुए मातृ एवं शिशु मृत्यु दर को कम करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है। ‘काव्या ऐप’ की ये शुरुआत गर्भवती महिलाओं के लिए जीवनदायी साबित हो रही है। जिसमे हाई रिस्क गर्भवती महिलाओं को समय पर चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराने और सुरक्षित प्रसव कराने के लिए जिलाधिकारी आशीष चौहान की दूरदर्शी सोच से जनवरी 2023 में ‘काव्या’ ऐप की शुरुआत की गयी। अब तक इसमें 511 हाई रिस्क महिलाओं का पंजीकरण किया गया है, जिनमें से 448 महिलाओं का सफल एवं सुरक्षित प्रसव करवाया गया है। काव्या ऐप की निगरानी तीन चरणों में की जा रही है। पहाड़ी जिले में जहां वर्षा बारिश में आवागमन के कारण कठिनाइयां हो जाती है, वहां गर्भवती महिलाओं का समय पर सुरक्षित प्रसव कराना एक बड़ी चुनौती होती है। इसलिए काव्या ऐप पर हाई रिस्क गर्भवती महिलाओं को आशाओं के माध्यम से चिन्हित कर पंजीकरण किया जाता है। चिकित्सक निरंतर रूप से इनकी मॉनिटरिंग करते हैं और उनके प्रसव निर्धारित तिथि से पूर्व ही उन्हें अस्पताल लाया जाता है, जिससे उनका सफल प्रसव हो सके। मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. पारुल गोयल ने बताया कि काव्या ऐप में वर्ष 2023 में 179 हाई रिस्क गर्भवती महिलाओं का सुरक्षित प्रसव किया गया। वहीं वर्ष 2024 में यह संख्या बढ़कर 234 हुई और वर्ष 2025 में वर्तमान तक 35 सुरक्षित प्रसव हो चुके हैं, जबकि 63 गर्भवती महिलाएं निगरानी में हैं और उनके सुरक्षित प्रसव की योजना तैयार की गयी है।
माँ और शिशु की रक्षा के लिए जिलाधिकारी की सराहनीय पहल, हाई रिस्क गर्भवती महिलाओं के लिए काव्या ऐप बना उम्मीद की किरण
